नौकर का सम्मान

घर की मालकिन ने अपने हंसमुखी नौकर को समझाते हुए कहा : "देखो, कभी-कभी मैं गुस्से में जरूरत से ज्यादा बोल जाती हूं। तुम इस बात का बुरा मत मानना।"
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नौकर ने जवाब में कहा : "सो तो ठीक है, लेकिन आप भी इतना ध्यान रखिएगा कि नौकर और पति में फर्क होता है!"
मालकिन :- क्या मतलब है तुम्हारा ?
नौकर :- हमारा सम्मान , करवा चौथ के दिन ही नहीं , रोज करें वर्ना कभी भी काम छोड़ सकते हैं । फिर ढूंढती रहना ।

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