दुष्काल !!!
माननीय प्रधानमंत्री जी ,
सादर नमन ,
( देश की जनता की आवाज़ , हँसमुखी चैनल द्वारा )
चालीस वर्षों के बाद , अब महाराष्ट्र ही नहीं पूरे भारत में आने वाले अकाल ने हम सबकी नींद उड़ा दी है , जब हलक प्यासा रहेगा तो क्या हम हंस पायेगे ? नहीं ! आज देश का किसान जीने को तरस रहा है , बेशक आप बादलों को नहीं गिरा सकते लेकिन जो गिरने वाले हैं , उन्हें सम्हाल सकते हैं , देशद्रोहीयों से , देश की जनता निपट लेगी लेकिन देशप्रेमियों को बचाने का तुरंत उपाय करवाइए , भूकंप या बाढ़ आती है , अचानक आती है तब आप त्रासदी घोषित करके निर्जीवों को निकालते हैं पर यहाँ गाँव के गाँव पलायन कर रहे हैं , बूँद - बूँद पानी को तरसते ये लोग, हमारे अन्नदाता हैं ! सूखा और अकाल अचानक नहीं चले आए इनकी पृष्ठभूमि बन रही थी, वैज्ञानिकों ने चेतावनी दी थी और सरकार को अग्रिम तैयारियों के बारे में भी बताया गया था, लेकिन सरकार अब जगी है , पानी के दुरूपयोग और स्वीमिंग पूलों पर प्रतिबन्ध लगाया गया है ! ये पत्र आपको इसलिए लिखा जा रहा है क्यूंकि सोशल मिडिया की ताकत से ही " हर - हर मोदी , घर - घर मोदी " की आवाज़ गूंजी थी ! एक बार गरीब किसान की स्थिति को देखते हुए इस त्रासदी को महा - विनाश होने से पहले बचा लीजिये !
विकास अगले साल कीजिये लेकिन अधिकतम राशी जल-त्रासदी में खर्च कीजिये !
नोट :- सभी चैनल के एडमिन बंधू , मित्र गण इस पोस्ट को अधिक शेयर कीजिये और परम पिता परमेश्वर से विपदा की घड़ी में प्रार्थना कीजिये ! लेकिन ,तनाव न लीजिये ! ईश्वर हम सबकी सहायता जरूर करेंगे ! हँसना न भूलिए !
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सही कहा सर....
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