हंसमुखी चैनल पर डॉक्टर झटका का साक्षात्कार !
हास्य को हास्य में लीजिए :-
हंसमुखी चैनल पर हमारे देश के मशहूर कृषि वैज्ञानिक श्री सर्वज्ञानी जी का साक्षात्कार :-
साक्षात्कार कर्ता :- " आप हैं हमारे देश के मशहूर कृषि वैज्ञानिक श्री सर्वज्ञानी जी....आपका हमारे इस खास प्रोग्राम में स्वागत है जनाब "
वैज्ञानिक जी :- " जी धन्यवाद......आपका "
साक्षात्कार कर्ता :- " सर ये बातइये कि बरसात के इस मौसम में सलाद में कौन सी चीज अच्छी रहती है....?? "
वैज्ञानिक :- " कुछ भी जो कि आपको भाता हो....अब टमाटर और प्याज़ तो महंगे हो जाते हैं ,पर इस मौसम में खीरा नहीं खाना चाहिए....."
साक्षात्कार कर्ता :- " क्यों जी अगर किसी को खीरा ही भाये तो वो क्या करे....??
वैज्ञानिक :- " खीरा ही क्यों भाएगा....?? कुछ और भी तो खा सकता है जैसे कि मूली......"
साक्षात्कार कर्ता :- " पर अगर मान लीजिए किसी को मूली नहीं, खीरा ही अच्छा लगे तो खीरा कैसे खाया जा सकता है...?? "
वैज्ञानिक :- " अगर किसी को मरना हो तो इस मौसम में खीरा खा सकता है....."
साक्षात्कार कर्ता :- " तो फिर इस मौसम में खीरा बिकता क्यों है....?? "
वैज्ञानिक :- " अरे भाई जब पैदा हो रहा है तो बिकेगा भी....आप समझते क्यों नहीं हैं....??
साक्षात्कार कर्ता :- " अच्छा तो हमारे देश में मृत्युदर बरसात में खीरा खाने की वजह से ही बढ़ रही है....?? '
वैज्ञानिक :- " अरे भाई नहीं....ऐसा नहीं है....."
साक्षात्कार कर्ता :- " अभी तो आपने कहा कि किसी को मरना हो तो इस मौसम में खीरा खा सकता है......हुंह "
वैज्ञानिक :- " अरे मेरे कहने का मतलब ये है कि बरसात में भी एक तरीका होता है, जिससे खीरा खाया जा सकता है...."
साक्षात्कार कर्ता :- " हाँ तो वो तरीका बताइये हमारे दर्शकों को....."
वैज्ञानिक :- " देखिये, आपने देखा होगा कि लोग खीरे को एक सिरे से काटकर दोनों हिस्सों को काफी देर तक रगड़ते हैं....??"
साक्षात्कार कर्ता :- " हाँ सर जी....देखा तो है...पर समझ में नहीं आया कि लोग ऐसा क्यों करते हैं....?? "
वैज्ञानिक :- " ऐसा करने से खीरे के अंदर से विषैले तत्व निकल जाते हैं...."
साक्षात्कार कर्ता :-" ऐसा करने से विषैले तत्व कैसे निकल जाते हैं....?? "
वैज्ञानिक :- " आपने देखा होगा कि जब दोनों हिस्सों को आपस में रगड़ते हैं तो कुछ सफ़ेद सफ़ेद सा द्रव निकलता है....?? " ये आपने देखा है या नहीं....?? "
साक्षात्कार कर्ता :- " हाँ जी देखा तो है...." मगर ???
वैज्ञानिक :- क्या मगर - मगर ..... " बस यही होता है वो विषैला तत्व....जो इस प्रकार रगड़ने से निकल जाता है......"
साक्षात्कार कर्ता :- " पर सर, एक बात समझ में नहीं आयी....?? "
वैज्ञानिक :- " कौन सी बात....?? "
साक्षात्कार कर्ता :- " यही कि ये कैसे पता चलता है कि खीरे को किस तरफ से घिसना है..?? "
वैज्ञानिक :- " अरे भाई....खीरे को मुंह की तरफ से काटा जाता है...."
साक्षात्कार कर्ता :- " खीरे का मुंह भी होता है.....?? कभी चिल्लाता तो नहीं है , काटे जाने पर...?? "
वैज्ञानिक :- " अरे भाई, जिस तरफ उसका डंठल होता है उसी तरफ उसका मुंह होता है...."
साक्षात्कार कर्ता:- " तो इसका मतलब ये हुआ कि खीरे को मुंह की तरफ से काट कर आपस में घिसने से उसके विषैले तत्व निकल जाते हैं...?? और उसे खाया जा सकता है...??
वैज्ञानिक :- " जी हाँ आपने एक दम सही समझा......"
साक्षात्कार कर्ता :- " आपका बहुत बहुत धन्यवाद....."
वैज्ञानिक :- " और कोई सवाल जो आप अपने दर्शकों के लिए करना चाहें.....?? "
साक्षात्कार कर्ता :- " बस एक सवाल और है....." आप " नाराज़ तो नहीं हो जायेंगे ?
वैज्ञानिक :- नहीं - नहीं ......" जी पूछिए क्या सवाल है....??
साक्षात्कार कर्ता :- " क्या हम सांप और अन्य जहरीले जानवरों को भी खीरे की तरह घिस घिस कर जहर निकाल कर खा सकते हैं....?? "
( वैज्ञानिक पहले बेहोश , फिर कोमा में और फिलहाल हंसमुखी पागलखाने में है............" )
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